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लोकसभा चुनाव: राज्य की महिलाओं में शैलजा ने सबसे अधिक जीत दर्ज की

Lok Sabha elections: Shailaja registers maximum victory among women of the state

सिरसा, 9 जून कांग्रेस नेता कुमारी शैलजा ने सिरसा संसदीय क्षेत्र से लोकसभा में जीत हासिल कर नया कीर्तिमान स्थापित किया है। वह हरियाणा से सबसे ज़्यादा बार लोकसभा चुनाव जीतने वाली महिला बन गई हैं। यह जीत संसदीय चुनावों में उनकी पांचवीं जीत है, जिससे वह संसद पहुँच गई हैं। इसके अलावा, वह 2014 से 2020 तक राज्यसभा की सदस्य भी रह चुकी हैं। शैलजा के अलावा, राज्य से कुल सात महिलाएँ ही लोकसभा पहुँच पाई हैं।

कांग्रेस का जाना-माना चेहरा और अपने पिता चौधरी दलबीर सिंह की राजनीतिक विरासत की वारिस कुमारी शैलजा के नाम सबसे ज़्यादा चुनाव जीतने का रिकॉर्ड है। वह 1991, 1996 और 2024 में सिरसा से तीन बार और 2004 और 2009 में अंबाला लोकसभा सीट से दो बार सांसद रह चुकी हैं। वह 2014 से 2020 तक राज्यसभा की सदस्य भी रह चुकी हैं।

पंजाब विश्वविद्यालय, चंडीगढ़ से शिक्षित कुमारी शैलजा ने 1990 में महिला कांग्रेस की अध्यक्ष के रूप में अपनी राजनीतिक यात्रा शुरू की। वे केंद्र सरकार में तीन बार मंत्री रह चुकी हैं, नरसिम्हा राव सरकार में शिक्षा राज्य मंत्री और मनमोहन सिंह सरकार में आवास और गरीबी उन्मूलन, सामाजिक न्याय और अधिकारिता और पर्यटन मंत्री जैसे विभागों को संभाला।

शैलजा के अलावा लोकसभा चुनाव में अपनी छाप छोड़ने वाली अन्य महिलाओं की कहानियां भी दिलचस्प हैं। राज्य से पहली महिला सांसद बनने का गौरव सुभद्रा जोशी को जाता है। वे संसद में क्षेत्र के किसी हिस्से का प्रतिनिधित्व करने वाली पहली महिला थीं। बाद में वे 1962 में अटल बिहारी वाजपेयी के खिलाफ यूपी के बलरामपुर में चुनाव लड़ीं और उन्हें हराया।

उसके बाद लोकदल की चंद्रावती देवी आईं, जिन्होंने 1977 में स्वर्गीय चौधरी बंसीलाल को हराया था। दिल्ली विश्वविद्यालय से कानून की पढ़ाई करने वाली चंद्रावती छह बार विधायक और एक बार सांसद रहीं। वह 1964 से 1966 तक पंजाब सरकार में और 1972 से 1974 तक हरियाणा सरकार में मंत्री भी रहीं। 1990 में वह 11 महीने तक पुडुचेरी की उपराज्यपाल भी रहीं।

इसके अलावा कुरुक्षेत्र से इंडियन नेशनल लोकदल (आईएनएलडी) के टिकट पर कैलाशो देवी सैनी दो बार जीतीं, जबकि बंसीलाल की पोती श्रुति चौधरी और भाजपा की सुधा यादव भिवानी-महेंद्रगढ़ से एक-एक बार जीतीं। 2019 में सिरसा से भाजपा की सुनीता दुग्गल चुनी गईं। 1999 में राज्य ने पहली बार दो महिला सांसद भेजे- भाजपा से सुधा यादव और आईएनएलडी से कैलाशो सैनी।

इसके अलावा, राज्य से कई महिलाएं राज्यसभा के माध्यम से संसद में पहुंची हैं। सुषमा स्वराज (1990-1996), विद्या बेनीवाल (1990-1996), सुमित्रा महाजन (2002-2008) और कुमारी शैलजा (2014-2020) हरियाणा से राज्यसभा सदस्य के रूप में कार्य कर चुकी हैं।

सुनीता दुग्गल ने बनाया सबसे अधिक वोट पाने का रिकॉर्ड 2019 में भाजपा के टिकट पर सिरसा सीट से निर्वाचित सुनीता दुग्गल हरियाणा की छठी महिला सांसद हैं। अब तक लोकसभा चुनाव में राज्य में किसी भी महिला द्वारा सबसे अधिक वोट पाने का रिकॉर्ड उनके नाम है। उन्होंने कांग्रेस उम्मीदवार अशोक तंवर को 3,09,918 वोटों से हराया। 2014 से पहले सुनीता दुग्गल एक आईआरएस अधिकारी थीं।

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