एनसीपी (एसपी) नेता माजिद मेमन ने बुधवार को दिल्ली विधानसभा चुनाव को लेकर अपनी बात रखी। उन्होंने कहा कि यहां मुख्य मुकाबला आम आदमी पार्टी और भाजपा के बीच है।
उन्होंने आईएएनएस से बातचीत में कहा, अगर कांग्रेस की बात करें, तो वो यहां तीसरा पक्ष है। लेकिन, इसकी भूमिका को भी खारिज करना मुझे लगता है कि किसी भी मायने में उचित नहीं रहेगा।
उन्होंने ईवीएम को लेकर भी अपनी बात रखी। कहा कि यह मुद्दा पूरे साल चलता रहता है। लेकिन, अगर इस पर व्यापक विचार-विमर्श की बात करें, तो इसमें कई तरह के पक्ष सामने आ जाते हैं, जिसमें चुनाव आयोग और राजनीतिक दल भी शामिल है।
इस विषय पर व्यापक चर्चा के लिए हमें इन सभी पक्षों की जरूरत होगी। खैर, अगर इन सभी बातों को एक पल के लिए परे कर दिया जाए, तो इस बात को खारिज नहीं किया जा सकता कि चुनाव आयोग ने अपेक्षित तरीके से दिल्ली में विधानसभा चुनावी तारीख का ऐलान किया। अगर अब मुकाबले की बात करें, तो ये सत्ताधारी दल आम आदमी पार्टी और भाजपा के बीच है।
यह स्पष्ट कर दिया कि हमारी पार्टी का दिल्ली के विधानसभा चुनाव में किसी भी प्रकार की कोई भूमिका नहीं है, ना ही हम वहां पर किसी भी तरीके से सक्रिय हैं और न ही हमारा कोई विधायक वहां है। ऐसे में मुझे लगता है कि हमारी पार्टी को दिल्ली विधानसभा चुनाव से जोड़कर देखना औचित्य नहीं है।
उन्होंने राजनीतिक दलों में होने वाली अनबन पर कहा कि आमतौर पर किसी भी राजनीतिक दल में ये होती रहती है। लेकिन, मुझे लगता है कि ऐसे विषयों को सार्वजनिक न कर आपस में ही सुलझा लेना चाहिए। एक चीज में कहना चाहूंगा कि इसे ज्यादा तूल देने से किसी भी प्रकार का फायदा होने वाला नहीं है। मुझे लगता है कि किसी भी पार्टी के आंतरिक कलह पर हमें हस्तक्षेप नहीं करना चाहिए।
इसके अलावा, मनमोहन सिंह के निधन को लेकर उन्होंने कहा कि जाहिर-सी बात है कि पूर्व प्रधानमंत्री का निधन हुआ है, तो ऐसी स्थिति में पूरा देश शोक मनाएगा ही। कांग्रेस पार्टी इस मुद्दे को लेकर पूरी तरह से लड़ रही है और देश चाहता है कि मनमोहन सिंह के साथ न्याय हो।
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