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सर्किल रेट में बढ़ोतरी का मिश्रित असर, अस्थायी मंदी की आशंका

Mixed effect of increase in circle rate, fear of temporary recession

जिले में कलेक्टर या सर्किल दरों में 10 से 20 प्रतिशत की बढ़ोतरी भले ही खरीदार के लिए झटका साबित हुई हो, लेकिन यह विक्रेता के लिए फायदेमंद साबित हो सकती है क्योंकि कागज पर संपत्ति का मूल्य बढ़ जाएगा। पंजीकरण शुल्क में बढ़ोतरी के कारण भी अस्थायी मंदी की आशंका है।

आर्किटेक्ट रवि सिंगला कहते हैं, ”हाउसिंग या प्रॉपर्टी सेक्टर में अस्थायी तौर पर मंदी देखने को मिल सकती है, लेकिन अगर खरीदार शहर में निवेश या प्रॉपर्टी खरीदने को लेकर गंभीर है, तो उसके पास कोई विकल्प नहीं बचेगा।” उनका दावा है कि रियल एस्टेट गतिविधि बढ़ने के कारण कई इलाकों, खासकर ग्रेटर फरीदाबाद क्षेत्र में प्रॉपर्टी की कीमतें बढ़ रही हैं। उनका कहना है कि रजिस्ट्रेशन शुल्क में 15 फीसदी की बढ़ोतरी कई लोगों के लिए चिंता का विषय नहीं हो सकती है, जो मानते हैं कि उनकी प्रॉपर्टी इस समय उसे खरीदने के लिए चुकाई गई रकम से कहीं ज्यादा रिटर्न देगी। उन्होंने कहा कि 1 अप्रैल से होने वाले संशोधन को मुख्य रूप से चुनावों के कारण रोक दिया गया था।

रियल एस्टेट एजेंट रोहताश चहल कहते हैं, “इस बढ़ोतरी का मुख्य रूप से खरीदारों पर असर पड़ेगा, क्योंकि पंजीकरण शुल्क का भुगतान वे ही करते हैं और जो लोग इसे बेचना चाहते हैं, उनके लिए यह चिंता का विषय नहीं है।”

एक अन्य प्रॉपर्टी कंसल्टेंट रवि कुमार कहते हैं कि यह बढ़ोतरी विक्रेताओं के लिए फायदेमंद साबित होगी क्योंकि इससे न केवल प्रॉपर्टी की कीमत बढ़ेगी बल्कि पैसे का भुगतान भी सफेद होगा। उन्होंने कहा कि इससे राज्य सरकार के राजस्व में भी बढ़ोतरी होगी।

फरीदाबाद रियल एस्टेट एजेंट्स वेलफेयर एसोसिएशन के गुरमीत सिंह देओल का कहना है कि इस बढ़ोतरी से मध्यम वर्ग के खरीदारों के बीच संपत्ति की बिक्री और खरीद पर नकारात्मक प्रभाव पड़ सकता है। उनका कहना है कि अगर यह बढ़ोतरी 1 अप्रैल, 2025 से की जाती, तो कई खरीदारों के पैसे बच सकते थे।

राजस्व विभाग ने शहर व जिले में जमीन व संपत्ति के सर्किल या कलेक्टर रेट में 10 से 20 फीसदी की बढ़ोतरी लागू की है। सर्किल रेट में पिछली बढ़ोतरी 2023 में की गई थी। सबसे ज्यादा 20 फीसदी की बढ़ोतरी डीएलएफ व सेक्टर-29 (दोनों रिहायशी) और बड़खल उपमंडल के व्यावसायिक क्षेत्रों में की गई है, वहीं ग्रेटर फरीदाबाद, सेक्टर 12 व सेक्टर 30 स्थित अशोका एन्क्लेव में पिछली दरों के मुकाबले 15 फीसदी की बढ़ोतरी की गई है।

ग्रेटर फरीदाबाद में ज्यादातर रिहायशी इलाका है, जबकि सेक्टर 12 व अशोका एन्क्लेव प्रमुख व्यावसायिक क्षेत्र हैं। सेक्टर 12 में रजिस्ट्रेशन शुल्क 1,03,500 रुपये प्रति वर्ग गज होगा। ग्रेटर फरीदाबाद के लिए 40,000 रुपये की मौजूदा दर के मुकाबले 46,000 रुपये प्रति वर्ग गज की दर प्रस्तावित की गई है। सबसे कम 10 फीसदी की बढ़ोतरी पॉश सेक्टर 14, 15 (कमर्शियल), सूरजकुंड रोड, एनआईटी सबडिवीजन और शहर की बाहरी रिहायशी कॉलोनियों में की गई है। जिन इलाकों में 10 फीसदी की बढ़ोतरी की गई है, उनमें से ज्यादातर इलाकों में दरें 20,000 से 40,000 के बीच हैं।

जिला राजस्व अधिकारी (डीआरओ) सुशील शर्मा का कहना है कि हालांकि पिछले वर्ष के संग्रह की गणना अभी की जानी है, लेकिन इससे राजस्व संग्रह में वृद्धि होगी तथा रियल एस्टेट और संबंधित क्षेत्रों में विकास को बढ़ावा मिलेगा।

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