लुधियाना में ईएसआई कॉरपोरेशन (ईएसआईसी) मॉडल अस्पताल में 73.03 लाख रुपये की लागत से एक नए गहन चिकित्सा इकाई (आईसीयू) वार्ड का निर्माण पूरा हो गया है। यह 10.58 करोड़ रुपये की लागत से अस्पताल की विभिन्न सुविधाओं के चल रहे नवीनीकरण और उन्नयन का हिस्सा था।
लुधियाना से सांसद (राज्यसभा) संजीव अरोड़ा की पहल पर हाल ही में सुविधाओं के उन्नयन का समग्र कार्य शुरू किया गया।
रविवार को यहां एक बयान में अरोड़ा ने कहा, ‘‘मुझे संबंधित अधिकारियों ने बताया है कि अस्पताल के भूतल पर आईसीयू वार्ड का नवीनीकरण कार्य पूरा हो गया है।’’ उन्होंने कहा कि उन्हें खुशी है कि उनके प्रयास आखिरकार सफल हुए।
उन्होंने बताया कि आईसीयू का नवीनीकरण आवश्यक था क्योंकि यह जीवन रक्षक हस्तक्षेप प्रदान करके अस्पताल की देखभाल प्रदान करता है, गंभीर रूप से बीमार रोगियों को स्थिर करता है, और यह सुनिश्चित करता है कि उन्हें उनकी बीमारी या ठीक होने के सबसे महत्वपूर्ण चरणों के दौरान उच्चतम स्तर की देखभाल मिले।
अरोड़ा ने कहा कि इससे पहले, ईएसआईसी मॉडल अस्पताल, लुधियाना में आईसीयू में सुविधाओं की कमी के कारण कई गंभीर रोगियों को निजी अस्पतालों में स्थानांतरित कर दिया गया था।
उन्होंने उम्मीद जताई कि अब सभी गंभीर मरीजों का इलाज अस्पताल में ही हो सकेगा और उन्हें निजी अस्पतालों में भेजने की जरूरत नहीं पड़ेगी। साथ ही, उन्होंने उम्मीद जताई कि पुनर्निर्मित आईसीयू मरीजों को समय पर और बेहतर उपचार प्रदान करने में सक्षम होगा।
इसके अलावा अरोड़ा ने बताया कि संबंधित अधिकारियों द्वारा उन्हें यह भी बताया गया है कि 49.73 लाख रुपये की लागत से मेडिकल गैस पाइपलाइन का विस्तार कार्य पहले ही पूरा हो चुका है।
उन्होंने कहा कि यह भी एक बड़ी उपलब्धि है क्योंकि इससे अस्पताल की कार्यप्रणाली में और सुधार आएगा। उन्होंने कहा कि वेट राइजर और स्प्रिंकलर सिस्टम तथा ऑटोमेटिक फायर अलार्म सिस्टम के साथ अग्निशमन प्रणाली पर 83 प्रतिशत काम पूरा हो चुका है।
उन्होंने कहा कि सीपीडब्ल्यूडी 4.68 करोड़ रुपये की लागत से यह कार्य कर रहा है और इस वर्ष 31 दिसंबर तक यह कार्य पूरा होने की संभावना है।
अरोड़ा ने बताया कि 4.68 करोड़ रुपये की लागत से चार 320 टीआर ऊर्जा कुशल केंद्रीय एसी संयंत्र (प्रत्येक संयंत्र 80 टीआर का) उपलब्ध कराने के लिए औपचारिक मंजूरी के लिए संशोधित विस्तृत अनुमान प्रस्तुत किया गया है। इस संबंध में, सीपीडब्ल्यूडी द्वारा निविदा प्रक्रियाधीन है। अस्पताल की स्थापना 1969 में हुई थी। यह 10.3 एकड़ में फैला हुआ है और वर्तमान में चार लाख से अधिक बीमित श्रमिकों की सेवा करता है।
इस वर्ष अगस्त में अरोड़ा ने केंद्रीय श्रम एवं रोजगार मंत्री डॉ. मनसुख मंडाविया से मुलाकात की थी और अस्पताल सुविधाओं के उन्नयन के लिए धनराशि स्वीकृत करने और वितरित करने के लिए उन्हें धन्यवाद दिया था।
अरोड़ा इस अस्पताल की बिस्तर क्षमता को 500 तक बढ़ाने का भी प्रयास कर रहे हैं। उन्होंने पहले ही डॉ. मंडाविया से इस महत्वपूर्ण पहल को प्राथमिकता देने और इसमें तेजी लाने के लिए महानिदेशक ईएसआईसी से सीधे हस्तक्षेप का अनुरोध किया है।
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