प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने देश में पर्यटन को बढ़ावा देने और देश की वैश्विक छवि को मजबूत करने के लिए ‘चलो इंडिया’ अभियान शुरू किया। जिसका उद्देश्य भारत को एक जीवंत और विविध पर्यटन स्थल के रूप में प्रस्तुत करना है। यह अभियान प्रवासी भारतीयों को मुफ्त वीजा देने की व्यवस्था करता है।
यह अभियान प्रवासी भारतीयों की मदद से भारत को दुनिया के सामने एक प्रमुख पर्यटन गंतव्य के रूप में पेश करने की कोशिश कर रहा है। प्रधानमंत्री मोदी ने प्रवासी भारतीयों से अपील की है कि वे कम से कम 5 विदेशी नागरिकों को भारत आने के लिए आमंत्रित करें। इसका उद्देश्य अंतर-सांस्कृतिक संबंधों को बढ़ावा देना और भारत की अनूठी संस्कृति को दुनिया तक पहुंचाना है।
ओडिशा एक प्रमुख पर्यटन स्थल है, जो इस पहल के तहत सबसे ज्यादा विदेशियों को लुभाएगा। ओडिशा की ऐतिहासिक और सांस्कृतिक धरोहर, प्राचीन मंदिर, सुंदर समुद्र तट और वन्यजीव अभयारण्य भारत की विविधता पर्यटन के लिए आदर्श हैं। ‘चलो इंडिया’ पहल ने ओडिशा की विशाल पर्यटन क्षमता को प्रदर्शित किया है, जिससे यह राज्य भारत के पर्यटन क्षेत्र में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाने लगा है।
आगामी प्रवासी भारतीय दिवस सम्मेलन के दौरान, दुनिया भर के लोग ओडिशा के योगदान को देखेंगे और समझेंगे कि कैसे यह राज्य भारत की सांस्कृतिक और पर्यटन पहचान में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहा है। इस सम्मेलन से प्रवासी भारतीयों को भारत की सांस्कृतिक धरोहर को फैलाने के लिए सक्रिय रूप से शामिल होने के लिए प्रेरित किया जाएगा।
‘चलो इंडिया’ पहल केवल पर्यटन को बढ़ावा देने तक सीमित नहीं है, बल्कि प्रवासी भारतीयों को भारत के सांस्कृतिक और ऐतिहासिक स्थलों का प्रचार करने का अवसर भी देती है। प्रवासी भारतीयों को इस अभियान के माध्यम से भारत के अद्वितीय स्थलों को विदेशी दर्शकों तक पहुंचाने के लिए राजदूत के रूप में काम करने के लिए प्रोत्साहित किया जाता है।
प्रवासी भारतीय दिवस समारोह में प्रवासी भारतीयों की असाधारण उपलब्धियों को मनाया जाएगा। इस वर्ष की प्रदर्शनी में रामायण, प्रौद्योगिकी और प्रवासी भारतीयों के इतिहास से जुड़ी महत्वपूर्ण जानकारी दिखाई जाएगी। यह दिखाएगा कि कैसे भारतीय प्रवासी भारतीय संस्कृति और मूल्यों को प्रचारित करने में अहम भूमिका निभा रहे हैं।
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