धर्मशाला, 18 अगस्त लगातार हो रही बारिश धर्मशाला में कहर बरपा रही है और शहर के विभिन्न हिस्सों से नुकसान की घटनाएं सामने आ रही हैं। बस स्टैंड के बाहर मुख्य सड़क पर बनी सुरक्षा दीवार अचानक गिर गई, जिससे गांधी-नेहरू वाटिका की ओर जाने वाले मार्ग पर यातायात जाम हो गया।
हालांकि, मलबा हटाकर सड़क पर यातायात बहाल कर दिया गया, लेकिन विशेषज्ञों का मानना है कि जिस तरह से विशाल रिटेनिंग दीवारें ढह रही हैं और आस-पास के इलाके में जमीन धंस रही है, वह भविष्य के लिए अच्छा संकेत नहीं है। बस स्टैंड के पास की दीवार एक बहुमंजिला इमारत को सहारा देती है, जो अब असुरक्षित हो गई है।
शहर के बीचों-बीच से गुजरने वाली चूरन खड्ड उफान पर है और इसने दोनों तरफ भारी नुकसान पहुंचाया है। गोरखा भवन के सामने शामनगर इलाके में एक सहायक दीवार का बड़ा हिस्सा ढह गया है। इलाके के निवासी विपिन ने कहा, “पूरा हिस्सा डूब गया है, जिससे राहगीरों के लिए गंभीर खतरा पैदा हो गया है। इस हिस्से पर तुरंत ध्यान देने की जरूरत है।”
चूरन खड्ड के कारण भूस्खलन हुआ है, जिससे शहर के वार्ड 13, बडोल क्षेत्र को खतरा पैदा हो गया है। निवासियों का कहना है कि नदी के आवासीय क्षेत्रों के करीब आ जाने के कारण वे लगातार खतरे में जी रहे हैं। उन्होंने शिकायत की कि बार-बार अनुरोध करने के बावजूद नगर निगम से किसी ने भी मौके पर जाने की जहमत नहीं उठाई। वार्ड में घरों तक जाने वाली सड़क बह गई है, जिससे निवासियों को काफी असुविधा हो रही है, जिनमें से अधिकांश महिलाएँ और वरिष्ठ नागरिक हैं।
लोकप्रिय पर्यटन स्थल मैक्लोडगंज की ओर जाने वाली सड़क भी कई जगहों पर धंस रही है। काली माता मंदिर से आगे 200 मीटर का हिस्सा धंस गया है और साथ ही सुरक्षा दीवार भी धंस गई है, जिसकी चौड़ाई अब आधी रह गई है।
कोतवाली बाजार से शुरू होकर मैक्लोडगंज तक जाने वाले खारा डांडा मार्ग पर भी स्थिति अलग नहीं है, क्योंकि यह मार्ग कई स्थानों पर क्षतिग्रस्त हो चुका है।
यद्यपि दोनों सड़कों पर भारी धनराशि खर्च की जा चुकी है, फिर भी दीर्घकालिक समाधान अभी भी दूर का सपना बना हुआ है।