नई दिल्ली, 12 दिसंबर । असम सरकार के एनआरसी को लेकर किए फैसले का भाजपा सांसद जगदंबिका पाल ने समर्थन किया। उन्होंने कहा कि यह मुख्यमंत्री का फैसला है और ऐसा ही होना चाहिए। कम से कम लोगों को अपनी पहचान स्थापित करने के लिए एनआरसी के लिए पंजीकरण तो कराना ही चाहिए, जिससे पहचान हो सके।
असम सरकार ने फैसला किया है कि जो लोग एनआरसी के लिए अप्लाई नहीं करेंगे उनका आधार कार्ड नहीं बनेगा।
दिल्ली में बांग्लादेशियों और रोहिंग्याओं के मुद्दे पर पाल ने कहा, ” ये लोग, रोहिंग्या और बांग्लादेशी, हमारे नागरिक नहीं हैं। चाहे वह पश्चिम बंगाल हो जहां ममता जी उनका समर्थन कर रही हैं, या दिल्ली में कांग्रेस और आप, कोई भी हमारी संपत्ति पर अवैध रूप से कैसे बस सकता है। आम आदमी पार्टी भ्रष्टाचार में डूबी हुई पार्टी है।”
11 दिसंबर को वक्फ (संशोधन) विधेयक, 2024 पर संयुक्त समिति की बैठक पर जगदंबिका पाल ने कहा, “इस बैठक में दारुल उलूम देवबंद के विचारों और सुझावों को सुना गया। हमारे पास 44 संशोधन हैं, और उनमें से कुछ पर उनके अपने विचार हैं। हम जिन्हें आमंत्रित करते हैं, उनसे हर रोज हर संशोधन का समर्थन या विरोध करने की अपेक्षा नहीं की जाती है। एक बार जब संसदीय कार्य मंत्री और केंद्रीय मंत्री किरेन रिजिजू द्वारा विधेयक को जेपीसी को भेज दिया जाता है, जैसा कि अध्यक्ष ने सुझाव दिया और अनुमोदित किया, तो हम उनके इनपुट और विचारों पर विचार करते हैं। फिर जेपीसी इन विचारों, सुझावों और आपत्तियों की सावधानीपूर्वक जांच करती है। इसके आधार पर हम रिपोर्ट तैयार करते हैं और जैसा की हमने किया है।”
मौलाना अरशद मदनी ने जेपीसी की बैठक में इस बिल में कई खामियां बताई। तो उन्होंने कहा, “अब उन्होंने क्या बताया है यह बात हमारी बैठक का हिस्सा है। इसे बाहर मीडिया में नहीं बताया जाता है।”