महर्षि दयानंद विश्वविद्यालय सेवानिवृत्त शिक्षक संघ (एमडीयूआरटीए) की पहली आम सभा की बैठक रविवार को विश्वविद्यालय के संकाय भवन में आयोजित की गई, जिसमें पूर्व संकाय सदस्यों ने संघ के दृष्टिकोण, भविष्य की गतिविधियों और सेवानिवृत्त शिक्षकों के लिए कल्याणकारी पहलों पर चर्चा की।
बैठक में हरियाणा, पंजाब, दिल्ली, उत्तर प्रदेश और अन्य राज्यों के 40 सेवानिवृत्त शिक्षकों ने सक्रिय भागीदारी की। एजेंडा सेवानिवृत्त शिक्षकों की आवाज को मजबूत करने और विश्वविद्यालय के विकास में सार्थक योगदान जारी रखने के तरीकों की खोज पर केंद्रित था।
बैठक के दौरान एसोसिएशन ने सर्वसम्मति से अपने पदाधिकारियों का चुनाव किया। पूर्व प्रोफेसर (कानून) केपीएस महलवार को अध्यक्ष चुना गया, जबकि अमर वर्मा को महासचिव नियुक्त किया गया। कार्यकारी समिति में जगदीश नंदल, अंजू खन्ना, देस राज, तिलक राज, हरीश कुमार और संजू नंदा शामिल हैं।
अपने संबोधन में महलवार ने सभी सदस्यों का स्वागत किया तथा सेवानिवृत्त प्राध्यापकों के कल्याण के प्रति एसोसिएशन की प्रतिबद्धता पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि यह मंच अनुभवों को साझा करने, चिंताओं को व्यक्त करने तथा शैक्षणिक और संस्थागत विकास में निरंतर सहभागिता को बढ़ावा देने के लिए एक स्थान के रूप में काम करेगा।
वर्मा ने सदस्यों की भागीदारी के लिए धन्यवाद दिया और सभी सेवानिवृत्त शिक्षकों से बड़ी संख्या में एसोसिएशन में शामिल होने का आह्वान किया। उन्होंने सेवानिवृत्ति के बाद आने वाली समस्याओं के समाधान और एक मज़बूत समर्थन नेटवर्क बनाने के लिए सामूहिक प्रयास के महत्व पर ज़ोर दिया।
सेवानिवृत्त प्रोफेसर (वाणिज्य) रविन्द्र विनायक ने कहा कि एसोसिएशन संवाद और आपसी सहयोग के लिए एक महत्वपूर्ण मंच प्रदान करेगा, जिससे सदस्यों को सेवानिवृत्ति के बाद आने वाली चुनौतियों से निपटने में मदद मिलेगी।