मुंबई, 16 जून । शिवसेना नेता संजय निरुपम ने उन आरोपों को खारिज कर दिया कि पार्टी के एक सांसद के रिश्तेदार ने मतगणना केंद्र पर मोबाइल फोन का इस्तेमाल किया।
निरुपम ने कहा कि महाविकास अघाड़ी (एमवीए) और इंडिया गठबंधन शिंदे की पार्टी के खिलाफ बदनामी का अभियान चला रही है।
मुंबई उत्तर पश्चिम लोकसभा सीट से हारे हुए उम्मीदवार अपनी हार को पचा नहीं पा रहे हैं। वह लगातार जीत रहे रवींद्र वायकर के खिलाफ दुष्प्रचार में लगे हुए हैं। कोई ईवीएम मोबाइल से अनलॉक या लॉक नहीं हो सकता। ऐसे में इस तरह की बात करना गलत है।
निरुपम ने कहा कि जब ईवीएम किसी चीज से कनेक्ट होती ही नहीं है, तो ओटीपी आने का सवाल कहा से पैदा होता है? मोबाइल से ईवीएम अनलॉक की बात कांग्रेस नेता राहुल गांधी, समाजवादी पार्टी प्रमुख अखिलेश यादव, आरजेडी नेता तेजस्वी यादव जैसे लोग प्रचारित कर रहे हैं। यह शिवसेना उम्मीदवार वायकर के खिलाफ एमवीए और इंडिया गठबंधन की ओर से फैलाया गया झूठ है।
ईवीएम की काउंटिंग पूरी होने के बाद इंडिया गठबंधन के उम्मीदवार अमोल कीर्तिकर एक वोट आगे थे। ईवीएम की काउंटिंग होने के बाद जब बैलेट बॉक्स के वोट जोड़े गए तो रवींद्र वायकर को 1550 वोट मिले थे, वहीं अमोल कीर्तिकर को 1501 वोट ही मिले थे। ऐसे में दोनों को जोड़कर अमोल कीर्तिकर को 48 वोटों से हार का सामना करना पड़ा।
दरअसल मुंबई पुलिस ने मुंबई उत्तर पश्चिम लोकसभा सीट से सांसद रवींद्र वायकर के साले मंगेश पंडिलकर के खिलाफ चुनावी नतीजों के दिन मतगणना केंद्र पर कथित तौर पर मोबाइल फोन का इस्तेमाल करने का मामला दर्ज किया है। आरोप है कि रविंद्र वायकर के साले मंगेश पंडिलकर 4 जून को पाबंदी के बावजूद एक चुनाव अधिकारी का मोबाइल लेकर गोरेगांव के काउंटिंग सेंटर के अंदर गए थे।
पंडिलकर ने कथित तौर पर मुंबई के गोरेगांव इलाके में मतगणना केंद्र के अंदर मोबाइल फोन का इस्तेमाल किया था। पुलिस सूत्रों के अनुसार, फोन का इस्तेमाल मतगणना केंद्र में इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन (ईवीएम) को अनलॉक करने के लिए ओटीपी जनरेट करने के लिए किया गया था।
शिवसेना के रवींद्र वायकर ने शिवसेना (उद्धव बालासाहेब ठाकरे) के उम्मीदवार अमोल साजनन कीर्तिकर के खिलाफ मुंबई उत्तर पश्चिम सीट पर मात्र 48 वोटों से जीत हासिल की है।
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