चंडीगढ़, 2 दिसंबर
हाल ही में शुरू की गई मुख्यमंत्री तीर्थ यात्रा योजना पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय में जनहित में एक याचिका दायर होने के साथ न्यायिक जांच के दायरे में आ गई है।
कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश रितु बाहरी और न्यायमूर्ति निधि गुप्ता की खंडपीठ ने वकील एचसी अरोड़ा के माध्यम से परविंदर सिंह किटना द्वारा दायर याचिका पर सुनवाई की अगली तारीख 12 दिसंबर तय की है।
खंडपीठ को बताया गया कि इस योजना में चालू वित्तीय वर्ष में 13 सप्ताह के दौरान 13 ट्रेनें चलाना शामिल है। प्रत्येक ट्रेन में 1,000 श्रद्धालुओं के बैठने की व्यवस्था थी। इसके अलावा, राज्य के विभिन्न स्थानों से विभिन्न गंतव्यों के लिए प्रतिदिन 10 बसें चलायी जानी थीं। प्रत्येक बस को 43 यात्रियों को ले जाना था। इस योजना में चालू वित्तीय वर्ष के दौरान 40 करोड़ रुपये का व्यय शामिल है।
याचिकाकर्ता ने तर्क दिया कि यह करदाताओं के पैसे की बर्बादी है और इससे कोई विकास या कल्याण नहीं होगा। यह योजना 2022 में एक मामले में सुप्रीम कोर्ट द्वारा जारी निर्देशों के भी खिलाफ थी।