गोंडा, 11 अक्टूबर । उत्तर प्रदेश के गोंडा में जिलाधिकारी नेहा शर्मा ने अनूठी पहल की है। नवरात्र की महाअष्टमी पर इस कार्यक्रम की शुरुआत की गई है। जिले में ‘शक्ति सारथी’ के तहत शक्ति वंदन 2.0 का आयोजन किया गया है। कार्यक्रम का आयोजन जिले के शहीद-ए-आजम सरदार भगत सिंह इंटर कॉलेज के प्रांगण में किया गया है। इसके तहत महिलाओं को सुरक्षित और सशक्त बनाया जाएगा। प्रशासन ने एक हजार ऑटो और ई-रिक्शा चालकों को ‘शक्ति सारथी’ के रूप में प्रशिक्षित किया है।
डीएम नेहा शर्मा ने बताया कि दुर्गा पूजा के अवसर पर महाष्टमी के दिन कार्यक्रम का आयोजन किया गया है। जहां कन्या पूजन के साथ पिछले साल की तरह फिर से शक्ति वंदन 2.0 का शुभारंभ किया गया है। इसके तहत मिशन शक्ति थीम के साथ ऑटो चालकों को मिशन से जोड़ा गया है। ऑटो चालक मिशन शक्ति थीम के संदेश वाहक बन गए हैं। इस थीम के जरिए उन्हें आज एक नई जिम्मेदारी सौंपी गई है।
डीएम ने कहा, “महिला सशक्तिकरण के लिए विभिन्न जागरूकता अभियान चलाए जा रहे हैं। इसके माध्यम से जनता तक संदेश पहुंचाया जाएगा। साथ ही ऑटो चालक भी महिला सुरक्षा में अपनी भूमिका निभाएंगे। उन्हें शक्ति सारथी की उपाधि भी दी गई है। हमने उन्हें इस संबंध में उन्मुख भी किया है। यह महिला सशक्तिकरण को लेकर यह बहुत बड़ा कदम साबित होने जा रहा है। इससे मिशन शक्ति कार्यक्रम को गति मिलेगी। कुल एक हजार ऑटो और ई-रिक्शा चालकों को प्रशिक्षित किया गया है। वे भी आज इस कार्यक्रम में भाग लेंगे।”
उन्होंने बताया कि आज 108 कन्याओं के पूजन का कार्यक्रम भी रखा गया है। पूरे जिले के विभिन्न स्कूलों के करीब एक लाख बच्चे शक्ति वंदन कार्यक्रम से जुड़े हैं। परिवहन विभाग ने रिक्शा चालकों की रजिस्टर्ड सूची तैयार की थी। उनके माध्यम से इन लोगों को प्रशिक्षित कर कलर थीम में कोड किया गया। ऑटो और ई-रिक्शा चालकों को प्रशिक्षित किया गया है, क्योंकि लड़कियों को स्कूल, कॉलेज और बाजार पहुंचाने में उनकी अहम भूमिका होती है। उसी आधार पर इन लोगों को प्रशिक्षित कर कार्यक्रम को सफल बनाने के लिए तैयार किया गया है।
बता दें कि पिछले साल 2023 में शहीद-ए-आजम सरदार भगत सिंह इंटर कॉलेज के मैदान में 11,888 कन्याओं के सामूहिक कन्या पूजन का आयोजन किया गया था। इस बार प्रशासन ने शहीद-ए-आजम सरदार भगत सिंह इंटर कॉलेज में 108 कन्याओं का पूजन किया है और परिषदीय विद्यालयों में कन्या पूजन का आयोजन कर इस परंपरा को आगे बढ़ाया जा रहा है।