N1Live Himachal ‘चुनाव पूर्व स्टार्टअप वादे का क्या हुआ’: जय राम ठाकुर ने सुखविंदर सिंह सुक्खू पर निशाना साधा
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‘चुनाव पूर्व स्टार्टअप वादे का क्या हुआ’: जय राम ठाकुर ने सुखविंदर सिंह सुक्खू पर निशाना साधा

'What happened to pre-poll startup promise': Jai Ram Thakur targets Sukhwinder Singh Sukhu

शिमला, 15 जुलाई विपक्ष के नेता जय राम ठाकुर ने आज राज्य सरकार पर लोगों को दी गई स्टार्ट-अप गारंटी को पूरा न करने का आरोप लगाया। उन्होंने मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू से पूछा, “आपकी सरकार की स्टार्ट-अप योजना का क्या हुआ?”

युवाओं को लाभ नहीं कांग्रेस ने चुनाव से पहले वादा किया था कि अगर वह सत्ता में आई तो युवाओं के लिए 680 करोड़ रुपये का स्टार्ट-अप फंड शुरू करेगी। पूर्व मुख्यमंत्री जय राम ठाकुर ने कहा कि कांग्रेस नेताओं ने पिछले विधानसभा चुनाव से पहले लाभार्थियों के चयन के लिए युवाओं से फॉर्म भरवाए थे। 2022 के चुनाव को डेढ़ साल से ज्यादा हो गया, लेकिन एक भी व्यक्ति को योजना का लाभ नहीं मिला

ठाकुर ने यहां जारी एक प्रेस बयान में कहा, “प्रदेश में कांग्रेस की सरकार बने डेढ़ साल से अधिक हो गया है। स्टार्ट-अप योजना से कितने युवाओं को लाभ मिला है? इस योजना का लाभ प्रदेश के युवाओं को कब मिलना शुरू होगा?”

उन्होंने कहा कि 2022 के विधानसभा चुनाव से पहले कांग्रेस ने लोगों को गारंटी दी थी कि अगर वह सत्ता में आई तो प्रत्येक विधानसभा क्षेत्र में युवाओं के लिए 680 करोड़ रुपये का स्टार्ट-अप फंड शुरू किया जाएगा, जिससे बेरोजगार स्वरोजगार प्राप्त कर सकेंगे और दूसरों के लिए भी रोजगार पैदा कर सकेंगे।

ठाकुर ने कहा, “कांग्रेस नेताओं ने पिछले विधानसभा चुनाव से पहले लाभार्थियों के चयन के लिए युवाओं से फॉर्म भी भरवाए थे। पिछले चुनाव को डेढ़ साल से ज्यादा हो गया है, लेकिन अभी तक एक भी व्यक्ति को इस योजना का लाभ नहीं मिला है। इसके बजाय सरकार ने मुख्यमंत्री स्वावलंबन योजना को बंद कर दिया है और इसके तहत स्वीकृत परियोजनाओं को भी रोक दिया है।”

उन्होंने कहा, “इससे युवाओं को काफी नुकसान हुआ है। कुछ युवा उद्यमियों को कुछ किश्तें मिल गई हैं, लेकिन बाकी किश्तें उन्हें नहीं दी जा रही हैं। इस तरह राज्य सरकार ने जानबूझकर युवाओं को मुश्किल में डाल दिया है।”

जयराम ठाकुर ने कहा, “पिछली सरकार के कार्यकाल में मुख्यमंत्री स्वावलंबन योजना के तहत प्रदेश में 721 करोड़ रुपये का निवेश हुआ था। सरकार ने इस योजना के तहत 200 करोड़ रुपये का अनुदान दिया। इसके तहत कुल 4,377 इकाइयां स्वीकृत की गईं, जिससे 11,674 लोगों को रोजगार मिला। अगर राजनीतिक द्वेष के कारण इस योजना को बंद न किया जाता तो प्रदेश में रोजगार और राजस्व के हजारों साधन पैदा होते। लेकिन, सुखू सरकार के असंवेदनशील और बदले की भावना वाले रवैये के कारण प्रदेश के युवाओं को मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है।”

ठाकुर ने यह भी कहा कि अब काफी समय बीत चुका है, सुक्खू सरकार को लंबित प्रतियोगी परीक्षाओं के परिणाम तुरंत घोषित करने चाहिए और युवाओं को रोजगार प्रदान करना चाहिए।

उन्होंने कहा, “सरकार युवाओं के भविष्य को इस तरह नजरअंदाज नहीं कर सकती। प्रदेश में कांग्रेस की सरकार बने डेढ़ साल से ज्यादा हो गया है। अब सुक्खू सरकार को जल्द से जल्द स्टार्ट-अप फंड के लिए बजट जारी करना चाहिए।”

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