अबोहर विधायक संदीप जाखड़ ने अबोहर क्षेत्र में नहरों में सिंचाई के लिए पानी की कमी पर चिंता व्यक्त की है।उन्होंने नहर विभाग द्वारा लागू की गई नहरी पानी की रोटेशन नीति का विरोध किया।
इस संबंध में आज विधायक जाखड़ के नेतृत्व में किसानों का एक प्रतिनिधिमंडल नहर विभाग के कार्यकारी अभियंता से मिला। जाखड़ ने आरोप लगाया कि नहरों में कम पानी छोड़ा जा रहा है, जिसके कारण कुछ किसानों की पानी लेने की बारी नहीं आ पा रही है।
जाखड़ ने कहा कि उन्होंने संबंधित मंत्री व विभाग के अन्य अधिकारियों से संपर्क कर नहरों में पूरा पानी छोड़ने की मांग की थी, लेकिन विभाग ने पानी की कमी के चलते अब पानी की रोटेशन नीति लागू कर दी है और इस संबंध में किसी को भी जानकारी नहीं दी गई।
किसानों ने बताया कि रविवार को नहर बंद होने के कारण दीवानखेड़ा गांव के किसान सुनील कुमार की दो बारी छूट गई। इसके अलावा जिन किन्नू उत्पादकों की बारी छूट गई है, उन्हें भारी आर्थिक नुकसान उठाना पड़ेगा।
जाखड़ ने कहा कि जलापूर्ति का यह चक्र धान उत्पादकों को पानी उपलब्ध करवाने के लिए लागू किया गया है, जो उनके भाई भी हैं, लेकिन इसका मतलब यह नहीं है कि अंतिम छोर पर जमीन जोतने वाले किसानों को नुकसान पहुंचाया जाए।
अबोहर विधायक ने कहा कि नहर विभाग ने अगले दो सप्ताह के दौरान रोटेशन लागू करने की योजना बनाई है, लेकिन अभी तक यह जानकारी नहीं है कि कौन सी नहर बंद होगी। उन्होंने दावा किया कि उन्होंने विभाग से किसानों के हित में यह जानकारी सार्वजनिक करने की अपील की है।
जाखड़ ने दावा किया कि राजस्थान में सिंचाई व्यवस्था बेहतर चल रही है। उन्होंने कहा कि वहां किसानों को एक महीने पहले ही पता चल जाता है कि कौन सी नहर बंद होने वाली है।
संपर्क करने पर कार्यकारी अभियंता सुखजीत सिंह ने स्पष्ट किया कि सरहिंद फीडर नहर में पानी की कमी के कारण उन्हें रोटेशन प्रणाली लागू करनी पड़ रही है। कार्यकारी अभियंता ने कहा कि हालांकि, जो नहरें पूरी क्षमता से चल रही हैं, उनसे अंतिम छोर के गांवों को भी अपेक्षित पानी मिल रहा है।
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