बिहार विधानसभा चुनाव की सरगर्मियों के बीच बयानबाजियां भी गर्माती जा रही हैं। एनडीए और महागठबंधन के बीच आरोप-प्रत्यारोप का दौर थमने का नाम नहीं ले रहा। इसी कड़ी में भाजपा आईटी सेल के प्रमुख अमित मालवीय ने नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव पर जुबानी हमला किया।
अमित मालवीय ने मंगलवार को ‘एक्स’ पोस्ट में तेजस्वी यादव पर धार्मिक भावनाओं को आहत करने और सामाजिक ताने-बाने से विमुख होने का आरोप लगाया।
मालवीय ने पोस्ट में लिखा, “तेजस्वी यादव ने पहले नवरात्रि में मछली खाकर मां दुर्गा का अपमान किया, फिर कलम फेंककर मां सरस्वती का। जहां पितृ पक्ष में दुनिया भर से लोग गयाजी में अपने पूर्वजों की आत्मा की शांति के लिए पिंडदान करने आते हैं, उन्हीं दिनों इस व्यक्ति ने अपनी पूरी चुनावी यात्रा निकाली। और फिर सीता माता की धरती पर, देवी पक्ष शुरू होने से पहले, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की देवतुल्य माता जी को अपने मंच से अभद्र गालियां दिलवाईं।”
उन्होंने आगे लिखा, “ऐसा व्यक्ति, जो बिहार के सामाजिक ताने-बाने से इतना विमुख हो, वह बिहार को कभी स्वीकार नहीं होगा। उस पर लालू के जंगलराज का वह भयानक दौर, जिसका स्मरण आज भी दिल दहला देता है। बिहार पर तब जो जुल्म हुए, उन्हें कोई बिहारी आज तक नहीं भूला है। बिहारियों के सम्मान के लिए, बिहार में फिर से एनडीए सरकार जरूरी है।”
इससे पहले, मालवीय ने सोमवार को लिखा, “24 घंटे से ज्यादा हो गए, लेकिन तेजस्वी यादव को इस बात का जरा भी अफसोस नहीं है कि उनकी सभा में आरजेडी के गुंडों ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की स्वर्गीय माताजी को गाली दी। तेजस्वी के घटिया भाषण के बाद ही उनके कार्यकर्ताओं ने यह दुस्साहस किया- इसके लिए वे खुद जिम्मेदार हैं। मंच पर खड़े होकर अपने ही कार्यकर्ताओं से प्रधानमंत्री मोदी की दिवंगत माता को गाली दिलवाने वाले तेजस्वी को इसका करारा जवाब बिहार की माताएं-बहनें जरूर देंगीं।”
उन्होंने आगे लिखा, “जगजाहिर है, जिसने अपनी सगी बहन को दुत्कार दिया और अपने सगे भाई की पीठ में खंजर घोंपा, उससे किसी महिला के सम्मान की उम्मीद करना बेमानी है। अगर शिक्षा और संस्कार होते तो देवी पक्ष से ठीक पहले इस तरह की ओछी हरकत कभी न करते। बिहार के लोग प्रधानमंत्री मोदी जी की माताजी को दी गई गाली से आहत और आक्रोशित हैं।”