जम्मू-कश्मीर के अखनूर सेक्टर में नियंत्रण रेखा (एलओसी) पर आतंकवादियों ने घुसपैठ की कोशिश की, जिसे भारतीय सेना के जवानों ने नाकाम कर दिया। इस मुठभेड़ में सेना के एक जूनियर कमीशंड अफसर (जेसीओ) शहीद हो गए।
अधिकारियों ने बताया कि यह घटना शुक्रवार की रात जम्मू जिले के अखनूर के केरी-बट्टल इलाके में हुई। आतंकवादी भारतीय सीमा में घुसने की कोशिश कर रहे थे। सेना के सतर्क जवानों ने तुरंत जवाब दिया और दोनों ओर से गोलीबारी हुई। इस कार्रवाई में घुसपैठ की कोशिश को नाकाम कर दिया गया।
अधिकारियों ने बताया, “गोलीबारी के दौरान एक जूनियर कमीशंड अफसर (जेसीओ) गंभीर रूप से घायल हो गए थे। उन्हें तुरंत अस्पताल ले जाया गया, लेकिन गंभीर चोट की वजह से शनिवार को शहीद हो गए ।”
सेना की जम्मू स्थित व्हाइट नाइट कोर ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर जानकारी दी कि शहीद जवान का नाम कुलदीप चंद था और वे 9 पंजाब रेजिमेंट में तैनात थे।
शहीद जवान को श्रद्धांजलि देते हुए सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर लिखा, “व्हाइट नाइट कोर और सभी रैंक 9 पंजाब रेजिमेंट के बहादुर सूबेदार कुलदीप चंद को सलाम करते हैं।”
उन्होंने 11 अप्रैल 2025 की रात को सुंदरबनी के केरी-बट्टल इलाके में नियंत्रण रेखा पर आतंकियों की घुसपैठ रोकने के लिए चलाए गए अभियान में बहादुरी से लड़ते हुए अपनी जान दे दी। उनकी टीम की वीरता और कुलदीप चंद के बलिदान ने आतंकियों की घुसपैठ की कोशिश को नाकाम कर दिया। हम इस दुख की घड़ी में उनके परिवार के साथ खड़े हैं।
इससे पहले, जम्मू-कश्मीर के किश्तवाड़ जिले के चटरू जंगल इलाके में तीन दिन तक चले एक अभियान में सुरक्षाबलों ने तीन आतंकवादियों को मार गिराया था। मारे गए आतंकियों में जैश-ए-मोहम्मद का एक बड़ा कमांडर सैफुल्लाह भी शामिल था।
अधिकारियों ने बताया कि इस मुठभेड़ में आतंकियों से एक एके-47 राइफल, एक एम4 राइफल और बड़ी मात्रा में हथियार बरामद हुए। शुक्रवार को शुरू हुए इस संयुक्त ऑपरेशन में सुरक्षाबलों ने पहले दिन एक आतंकी को मार गिराया था।
यह कार्रवाई खुफिया इनपुट के आधार पर की गई थी। जानकारी मिलने के बाद सुरक्षाबलों और आतंकियों के बीच मुठभेड़ हुई, जिसमें एक आतंकी ढेर हो गया।
अधिकारियों ने बताया कि घने जंगलों में छिपे आतंकियों को ढूंढने के लिए सेना और पुलिस का तलाशी अभियान अभी भी जारी है।
एक स्थानीय नागरिक ने सुरक्षाबलों को बताया कि 9 अप्रैल की रात करीब 8:30 बजे तीन आतंकी, जो काले कपड़े पहने हुए थे और भारी हथियारों से लैस थे, उसके घर में घुसे थे। वे वहां करीब तीन घंटे रुके और रात 11:30 बजे चले गए।
इस जानकारी के बाद सुरक्षाबलों ने इलाके की घेराबंदी और कड़ी कर दी। रिपोर्टों के अनुसार, और जवानों को मौके पर भेजा गया है और संयुक्त बल छिपे हुए आतंकियों पर नजर बनाए हुए हैं।
इसके अलावा, यह भी ज़िक्र करना जरूरी है कि 3 मार्च को कठुआ जिले के हीरानगर क्षेत्र के सान्याल गांव में पांच आतंकवादियों को देखा गया था। पुलिस की एक टीम तुरंत वहां पहुंच गई थी।
सान्याल गांव अंतरराष्ट्रीय सीमा से सिर्फ 4 किलोमीटर दूर है, इसलिए माना जा रहा है कि ये आतंकी हाल ही में सीमा पार कर भारतीय इलाके में घुसे होंगे। सान्याल गांव से भागते हुए आतंकी सफियुन जखोले इलाके की ओर निकल गए। पुलिस ने आतंकियों का पीछा किया और मुठभेड़ में दो आतंकवादी मारे गए। लेकिन इस मुठभेड़ में चार पुलिसकर्मी भी शहीद हो गए।