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पटियाला: टमाटर की फसल को हुए नुकसान का आकलन करने के लिए कृषि विशेषज्ञों ने सनौर का दौरा किया

Patiala: Agriculture experts visit Sanaur to assess the damage caused to tomato crop

पटियाला, 20 दिसंबर टमाटर और आलू की फसल को पिछेती झुलसा रोग से हुए नुकसान का आकलन करने के लिए विशेषज्ञों की एक टीम ने आज पटियाला जिले के सनौर का दौरा किया।

बागवानी विभाग के सहायक निदेशक संदीप सिंह, कृषि विज्ञान केंद्र, रौनी की प्रभारी गुरुपदेश कौर और केंद्रीय एकीकृत कीट प्रबंधन केंद्र के अधिकारियों की टीमों ने प्रभावित क्षेत्रों का दौरा किया। साथ ही राजस्व विभाग के अधिकारियों ने भी क्षतिग्रस्त फसलों की गिरदावरी कराई।

फतेहपुर राजपूता, खुड्डा लालेना, असरपुर और करतारपुर गांवों में टमाटर की करीब 50 फीसदी फसल पिछेती झुलसा रोग की चपेट में आ गई है। फ़तेहपुर राजपूता के मनविंदर सिंह ने कहा, “टमाटर की किस्म ‘हीमशिखर’ को सबसे ज़्यादा नुकसान हुआ है। अन्य किस्में कम प्रभावित हुई हैं। हीमशिखर अपनी लंबी शेल्फ लाइफ और लाभप्रदता के कारण किसानों के बीच लोकप्रिय है।

संदीप ने कहा, ‘टमाटर की फसल को हुए नुकसान का आकलन करने के लिए विशेषज्ञ टीम ने कई खेतों का दौरा किया। अभी तक आलू एवं मटर पर रोग का प्रकोप नहीं देखा गया है। हम रिपोर्ट संकलित कर रहे हैं।”

पीएयू के प्लांट पैथोलॉजी के सहायक प्रोफेसर संदीप जैन ने कहा कि आलू और टमाटर की फसलों पर लेट ब्लाइट के प्रकोप के लिए मौसम की स्थिति अनुकूल होने के बारे में किसानों को लगातार सलाह जारी की गई थी। पिछले एक महीने में, रात का तापमान 100 से 20 डिग्री सेल्सियस के बीच बना हुआ है और आर्द्रता की मात्रा 100 प्रतिशत के करीब है। इस दौरान बारिश और कोहरा भी देखने को मिला।

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