July 12, 2025
Himachal

सरकार बौद्ध धर्म और भोटी भाषा के संरक्षण के लिए प्रतिबद्ध: नेगी

Government committed to preserve Buddhism and Bhoti language: Negi

राजस्व, बागवानी, जनजातीय विकास एवं लोक शिकायत निवारण मंत्री जगत सिंह नेगी ने रविवार को बौद्ध धर्म और भोटी भाषा के संरक्षण एवं संवर्धन के लिए सरकार की अटूट प्रतिबद्धता दोहराई, ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि जनजातीय क्षेत्रों की भावी पीढ़ियां अपनी समृद्ध सांस्कृतिक जड़ों से जुड़ी रहें।

वह किन्नौर जिले के रिकांगपिओ में पुलिस लाइन के निकट चोखोरलिंग बौद्ध मठ में आयोजित परमपावन 14वें दलाई लामा की 90वीं जयंती एवं करुणा वर्ष समारोह में मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित लोगों को संबोधित कर रहे थे।

सरकार की सांस्कृतिक प्राथमिकताओं पर प्रकाश डालते हुए नेगी ने कहा कि आदिवासी जिले किन्नौर में पारंपरिक मेलों के आयोजन पर विशेष जोर दिया जा रहा है। उन्होंने कहा कि ये आयोजन आपसी भाईचारे को बढ़ावा देने, सदियों पुरानी परंपराओं को संरक्षित करने, भावनात्मक बंधनों को पोषित करने और आधुनिक युग में तनाव मुक्त और मूल्य-संचालित जीवन शैली को बढ़ावा देने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं।

दलाई लामा को श्रद्धांजलि देते हुए मंत्री ने कहा कि परम पावन ने बौद्ध धर्म को वैश्विक पहचान दिलाई है और दशकों के अथक परिश्रम के माध्यम से तिब्बती समुदाय को एक अलग पहचान स्थापित करने में मदद की है। उन्होंने उपस्थित लोगों से दलाई लामा के जीवन और शिक्षाओं से प्रेरणा लेने, अपने लक्ष्यों के लिए लगन से काम करने और मजबूत चरित्र निर्माण और जीवन की गुणवत्ता बढ़ाने के लिए बौद्ध मूल्यों को अपनाने का आग्रह किया।

नेगी ने एकत्रित लामाओं और विद्वानों से बौद्ध धर्म की शिक्षाओं को हर गांव तक फैलाने में मदद करने की विशेष अपील की। ​​उन्होंने उन्हें भोटी भाषा के ग्रंथों का सरल भाषाओं में अनुवाद करने के लिए प्रोत्साहित किया, ताकि बौद्ध धर्म की आध्यात्मिक और दार्शनिक संपदा आम जनता के लिए अधिक सुलभ हो सके।

समारोह का समापन उत्साहपूर्ण ढंग से हुआ, जिसमें स्थानीय महिला समूहों और स्कूली बच्चों द्वारा पारंपरिक किन्नौरी लोक नृत्य प्रस्तुत किया गया, जिससे आध्यात्मिक कार्यक्रम में सांस्कृतिक उल्लास और सामुदायिक भावना का समावेश हो गया।

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