मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने सोमवार को चंबा जिले के पांगी में आयोजित राज्य स्तरीय हिमाचल दिवस कार्यक्रम के दौरान 5 करोड़ रुपये की अनुदान राशि के साथ पांगी को हिमाचल प्रदेश का पहला प्राकृतिक कृषि उपमंडल घोषित किया।
मुख्यमंत्री ने राष्ट्रीय ध्वज फहराया और आईपीएस अधिकारी रवि नंदन के नेतृत्व में छह टुकड़ियों द्वारा आयोजित परेड की औपचारिक सलामी ली।
इस अवसर पर उपस्थित लोगों को संबोधित करते हुए मुख्यमंत्री सुखू ने कहा कि उदयपुर-किलाड़ सड़क को बेहतर बनाना राज्य सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकता है। उन्होंने लाहौल-स्पीति और चंबा जिलों के प्रशासन को परियोजना में तेजी लाने के लिए सभी औपचारिकताएं पूरी करने के निर्देश दिए।
उन्होंने प्राकृतिक रूप से उगाए जाने वाले जौ के लिए 60 रुपये प्रति किलोग्राम न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) तथा पांगी क्षेत्र में 10,000 लीटर क्षमता का दूध प्रसंस्करण संयंत्र स्थापित करने की भी घोषणा की।
घाटी में बिजली आपूर्ति को मजबूत करने के लिए उन्होंने बताया कि राज्य सरकार 62 करोड़ रुपये की लागत वाली विभिन्न परियोजनाओं पर काम कर रही है। इसमें टिंडी से शौर तक 11 केवी लाइन के लिए 5 करोड़ रुपये और थिरोट से किलार तक 33 केवी लाइन के लिए 45.50 करोड़ रुपये शामिल हैं।
क्षेत्र की विशिष्ट चुनौतियों को ध्यान में रखते हुए, मुख्यमंत्री सुक्खू ने महिला मंडल भवनों के निर्माण के लिए पर्याप्त धनराशि उपलब्ध कराने का आश्वासन दिया तथा घोषणा की कि साच को उप-तहसील का दर्जा दिया जाएगा।
परिवहन सेवाओं में सुधार के लिए उन्होंने घाटी के लिए 20 नए बस परमिट की घोषणा की, साथ ही बस खरीद पर 40 प्रतिशत सब्सिडी और सड़क कर से चार महीने की छूट की घोषणा की।
इसके अतिरिक्त, मुख्यमंत्री ने पांगी में राजीव गांधी डे बोर्डिंग स्कूल खोलने तथा किलाड़ में सिविल अस्पताल को आदर्श स्वास्थ्य संस्थान के रूप में विकसित करने की घोषणा की।
उन्होंने होमस्टे के लिए पंजीकरण शुल्क में 50 प्रतिशत छूट की भी घोषणा की तथा घाटी में संपर्क सड़कों के सुधार के लिए 1.5 करोड़ रुपये आवंटित किए।
सीएम सुखू ने पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी को श्रद्धांजलि अर्पित की और 1984 में पांगी की उनकी यात्रा को याद किया, जो किसी भी भारतीय प्रधानमंत्री की पहली यात्रा थी। उन्होंने इंदिरा गांधी की यात्रा को क्षेत्र के विकास के लिए एक महत्वपूर्ण मोड़ बताया और कहा, “यह आदिवासी क्षेत्रों के विकास के लिए कांग्रेस सरकार की प्रतिबद्धता का प्रमाण है।”
सुक्खू ने कहा कि राज्य सरकार ने नीतियों और कानूनों में बदलाव लाकर अर्थव्यवस्था को पुनर्जीवित करने के प्रयास किए हैं, जिसके परिणामस्वरूप हिमाचल प्रदेश की वित्तीय स्थिति में उल्लेखनीय सुधार हुआ है।
उन्होंने कहा कि सरकार ने अपनी दस गारंटियों में से छह को पूरा कर लिया है और ग्रामीण अर्थव्यवस्था को मजबूत करने के लिए कई कदम उठाए हैं।
इस कार्यक्रम में विधानसभा अध्यक्ष कुलदीप सिंह पठानिया, विधायक सुन्दर ठाकुर एवं नीरज नैयर, हिमाचल प्रदेश राज्य सहकारी बैंक के अध्यक्ष देवेन्द्र तथा वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।
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